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स्वास्थ्य

पोस्ट कोवि़ड सिंड्रोम में होम्योपैथी है लाभकारी-डॉ मेघा

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देश में जहां कोरोना का प्रकोप फैलने के साथ वैक्सिनेशन से मरीजों के आंकड़ों में गिरावट आ रही है । कोरोना से ठीक होने के बाद भी चार से बारह सप्ताह तक कुछ लक्षण दिखाई देते है।लक्षणों में
क्रोनिक फेटिग सिंड्रोम में किसी भी श्रम से व्यक्ति को थकावट महसूस होती है। जोड़ों का दर्द , सिर दर्द ,शरीर में दर्द ,सिर दर्द भी होता है।ब्रेन फाग में एकाग्रता कम होना ,अनिद्रा एवम् अवसाद समस्याएं पैदा होती है।पेट की समस्याएं जैसे डायरिया ,जी मिचलाना, एसिडिटी आदि हो सकता है। इन समस्याओं का होम्योैथिक इलाज बहुत ही कारगर है। दवाओं में आर्सेनिक एलबम, जेल्सीमियम,कोनियम,रस्टॉक्स, काली फॉस आदि बेहद लाभकारी है जो चिकित्सक के परामर्श से के सकते है।

डॉ मेघा विश्वनाथ , के एम् सी अस्पताल में होम्योपैथिक विशेषज्ञ है।

सिवान

दयानंद आयुर्वेदिक मेडिकल कॉलेज में “एनीमिया मुक्त भारत अभियान” का हुआ शुभारंभ

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लोकतंत्र न्यूज नेटवर्क, सिवान-; राष्ट्र सर्वोपरि की सोच रखने वाले देश के प्रबुद्ध नागरिकों का अखिल भारतीय संगठन भारत विकास परिषद् के संस्थापक डॉ सूरज प्रकाश जी के जयंती के अवसर पर गुरुवार को दयानंद आयुर्वेदिक मेडिकल कॉलेज के अस्पताल परिसर में भारत विकास परिषद् देशरत्न शाखा सिवान के तत्वावधान में “एनीमिया मुक्त भारत अभियान” का शुभारंभ किया गया। इस मौके पर शहर के प्रसिद्ध जांच घर एक्यूरेट डायग्नोसिस सेंटर के सहयोग से दर्जनों महिलाओं का हीमोग्लोबिन जाँच कर के उन्हें डॉ अंजू सिंह के नेतृत्व में उचित परामर्श एवं मुफ्त दवा उपलब्ध कराया गया।इस मौके पर भारत विकास परिषद् देशरत्न शाखा के सचिव भारत भूषण पाण्डेय ने बताया कि परिषद् के द्वारा प्रति माह अलग-अलग स्थानों पर शिविर आयोजित कर के अधिक से अधिक महिलाओं एवं बालिकाओं का हीमोग्लोबिन जांच कर के उन्हें उचित परामर्श एवं मुफ्त में दवा उपलब्ध कराया जाएगा।

बताते चलें कि गुरुवार को डॉ सुरज प्रकाश जी के जयंती के अवसर पर सर्वप्रथम उनके तैल चित्र पर भारत विकास परिषद् देशरत्न शाखा सिवान के सदस्यों ने प्रांतीय उपाध्यक्ष डॉ सुधांशु शेखर त्रिपाठी के नेतृत्व में पुष्पांजलि अर्पित कर के डॉ सुरज प्रकाश जी को श्रद्धांजलि दी। इस मौके पर सचिव भारत भूषण पाण्डेय, कोषाध्यक्ष राजीव रंजन उर्फ श्रवण सिंह, वरिष्ठ सदस्य नवीन सिंह परमार, रोहित कुमार, इंदल कुमार सिंह, निलेश वर्मा, आनंद मित्तल, मनोज कुमार सिंह, वरुण कुमार द्विवेदी, महिला बाल विकास प्रमुख डॉ अंजू सिंह,अस्पताल प्रभारी डॉ विजय गणेश यादव, डॉ शुभनारायण तिवारी
सहित दर्जनों की संख्या में भारत विकास परिषद् के सदस्य एवं शहर के प्रबुद्ध नागरिक उपस्थित थे।

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सिवान

डेनियल क्लब के सौजन्य से फ़्री हेल्थकैम्प सह शिक्षा सम्मान समारोह आयोजित

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लोकतंत्र न्यूज़ नेटवर्क,सिवान-; डेनियल क्लब ट्रस्ट के सौजन्य से रविवार को सैनिक मॉडल स्कूल में फ्री मेडिकल कैंप सह शिक्षा सम्मान समारोह का आयोजन किया गया जिसमें शहर के प्रसिद्ध चिकित्सकों जिनमें शाहनवाज आलम, डॉ के एहतेशाम, डॉ अम्मार जाहिद,डॉ सरताज़ आलम,डॉ मुबारक अली, डॉ एम आई खान,चर्म रोग विशेषज्ञ डॉ रबिउद्दीन सहित अन्य चिकित्सकों नें अपनी सेवाओं दी।
इस मौके पर ट्रस्ट के सभी वरिष्ठ सदस्य, सैनिक मॉडल स्कूल के डॉयरेक्टर राजन सर, शंभू सोनी, सिंगर नीतिश राज,वरीय अधिवक्ता हाक़िम गिरि सहित अन्य गणमान्य मौजूद रहे।
ट्रस्ट के तरफ से अध्यक्ष विदित सोनी, सचिव पंकज कुमार, महासचिव राशिद, मनीष, विजय प्रकाश, नेमतुल्लाह, अभिषेक गिरि, अज़मत, प्रियरंजन, विशाल इत्यादि मौजूद रहे।
ट्रस्ट के अध्यक्ष विदित सोनी ने सेल्फी विथ प्लांट अभियान के बारे में बात रखी,वहीं ट्रस्ट के सचिव पंकज ने पर्यावरण संरक्षण पर प्रकाश डाला।महासचिव राशिद ने ट्रस्ट के कार्यों पर प्रकाश डाला।
इस मौके पर लगभग 200 से अधिक लोगों नें इलाज करावाया और निशुल्क जरुरी दवाये प्राप्त की।

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होमियोपैथ के जनक डॉ. हैनिमैन की 269 वीं जयंती मनायी गई

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लोकतंत्र न्यूज़ नेटवर्क ,सिवान-; शहर के रामराज्य मोड़ स्थित होमियोपैथिक संघ भवन में होमियोपैथ के जनक डॉ. हैनिमैन की 269 वीं जयंती मनायी गई ।कार्यक्रम की शुरुआत अतिथियों ने दीप जलाकर किया। इसके बाद डॉ. हैनिमैन की प्रतिमा पर पुष्प अर्पित किया गया।सिवान शहर के प्रख्यात वरिष्ठ होम्योपैथिक चिकित्सक डॉक्टर अविनाश चंद्र ने इस सभा में शिरकत किया।
डॉ अविनाश चंद्र वरिष्ठ होम्योपैथिक चिकित्सक ने पथरी के ऊपर शोध किया है, 90 फीसदी लोगों को जीवन में पथरी से एक बार जरूर जूझना पड़ता है। एक बार पथरी निकल जाने के बाद बार-बार होने की संभावना भी रहती है, इसलिए इस बीमारी के खिलाफ सावधानी ही इसका सबसे बड़ा बचाव है। आम तौर पर पथरी शरीर में दो ही जगह होती है। पहला गॉल ब्लैडर (पित्ताशय) में और दूसरा किडनी में। गॉल ब्लैडर की तुलना में किडनी में बहुत ज्यादा लोगों को पथरी की समस्या होती है। सीवान के प्रख्यात वरिष्ठ होम्योपैथिक चिकित्सक डॉ अविनाश चंद्र बताते हैं कि किडनी में 90 फीसदी लोगों को कैल्शियम ऑक्जलेट पथरी होती है और इसकी वजह खान-पान और कम पानी पीना होता है। कैल्शियम ऑक्जलेट के अलावा कुछ लोगों को यूरिक एसिड और फॉस्फेट पथरी भी होती है। यूरिक एसिड पथरी की वजह अधिक प्रोटीनयुक्त भोजन हो सकती है और फॉस्फेट पथरी दूध और दूध से बनी चीजों के ज्यादा सेवन से। स्टुवाइट स्टोन आमतौर पर मूत्र पथ के संक्रमण के परिणामस्वरूप होते हैं। सिस्टिनुरिया नामक वंशानुगत विकार वाले लोगों को इस प्रकार के किडनी की पथरी विकसित होने का खतरा होता है। सिस्टिनुरिया एक ऐसी स्थिति है जिसमें गुर्दा एक विशिष्ट अमीनो एसिड की अधिक मात्रा में स्रावित करता है। यूरिक एसिड स्टोन चयापचय की स्थिति वाले लोग, मधुमेह और आनुवंशिक कारक, जो उच्च फाइबर खाद्य पदार्थ खाते हैं उन्हें यूरिक एसिड पत्थरों का खतरा होता है। डॉ. अविनाश चंद्र ने गुर्दे की पथरी बनने के मुख्य कारण कम मात्रा में पानी पीना बताया। ऐसा आहार ना लें जो प्रोटीन, सोडियम और चीनी से भरपूर हो। गुर्दे की पथरी का पारिवारिक इतिहास होना। आप अधिक वजन से पीड़ित हैं, सूजन आंत रोगों से पीड़ित, आपके गुर्दे में उच्च मात्रा में कैल्शियम और अन्य खनिजों का जमा होना, आप पहले गुर्दे
की पथरी से पीड़ित रहे हैं, कुछ दवाओं के सेवन से किडनी में पथरी हो सकती है, पॉलीसिस्टिक किडनी डिजीज से पीड़ित हैं पथरी होने की प्रबल संभावना होती है। डॉ. अविनाश चंद्र ने लक्षणों का खुलासा करते हुए कहा कि यदि आपके किडनी स्टोन का आकार छोटा हैं, तो वह आपके पेशाब के माध्यम से आसानी से निकल सकता हैं और ऐसे में आपको कोई लक्षण नहीं दिखेगा। लेकिन यदि आपके गुर्दा पथरी का आकार बड़ा हैं तो आपको पेशाब करते समय दर्द महसूस होना, आपके पेशाब में खून का आना, पेशाब का बार बार आना, आपकी पीठ या पेट के निचले हिस्से में तेज दर्द, बुखार आना, जी मिचलाना और उल्टी होना आदि लक्षण देखने को मिलते है। डॉ. अविनाश चंद्र ने यह भी कहा कि घरेलू उपचार में आप लेमन जूस, अनार का जूस, एप्पलसाइडर विनेगर, गेहूं के ज्वार का जूस, ढेर सारा पानी पीना, कम नमक का सेवन से इसके अलावा आप अदरक, आंवले, नींबू और फलो के जूस लेने से नए पथरी को बनने से रोकने में मदद करते है। डॉ. अविनाश चंद्र ने कहा कि पालक, भिंडी, फ्रेंच फ्राइज, शकरकंद, बादाम ऐसे कुछ आहार हैं जो गुर्दे की पथरी को बढ़ाता हैं, इन्हें ना खाएं। उन्होंने होम्योपैथिक औषधियों में हाइड्रेजिया, परेरा ब्रावा, कैंथारिस लाइकोपोडियम, सरसापैरिला, कैलकेरिया कार्ब, आदि औषधि के सेवन से पथरी से छुटकारा पाया जा सकता है।

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